ज़रा गौर फरमाइये...



अर्ज़ किया है...
वो कहती अपने भाइयों से, मेरे आशिक़ को यूँ ना पीटो,
ज़रा गौर फरमाइये...
वो कहती अपने भाइयों से, मेरे आशिक़ को यूँ ना पीटो,
बड़ा ज़िद्दी है ये कमीना, पहले कुत्ते की तरह घसीटो।

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